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कोरोना का बढ़ता खतरा: 10 दिनों में एक्टिव केस में भारी बढ़ोतरी, ओमिक्रॉन वैरिएंट्स बने कारण

नई दिल्ली:

पिछले कुछ दिनों से एशिया से लेकर अमेरिका तक कोरोना संक्रमण के मामलों में तेजी से वृद्धि देखी जा रही है। भारत में भी कोरोना ने अपनी पकड़ मजबूत कर ली है और पिछले 10 दिनों में संक्रमण के मामलों में बड़े उछाल के बाद स्वास्थ्य अधिकारियों की चिंता बढ़ गई है।

एक्टिव केस में तेजी से बढ़ोतरी

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के कोविड डैशबोर्ड के अनुसार, 31 मई को देश में कुल सक्रिय मामलों की संख्या बढ़कर 3,395 हो गई है। 22 मई को यह संख्या सिर्फ 257 थी, जो 10 दिनों के भीतर एक बड़े उछाल को दर्शाती है। यह स्पष्ट करता है कि कोरोना के मामलों में फिर से वृद्धि हो रही है, और इसके साथ अस्पतालों में भर्ती होने के मामले भी बढ़ रहे हैं।

कोरोना से मौत की बढ़ती खबरें

संक्रमण के बढ़ते मामलों के साथ-साथ कोरोना से होने वाली मौतों की खबरें भी सामने आ रही हैं, जो लोगों में डर का कारण बन गई हैं। 1 जनवरी से लेकर अब तक कोरोना से कुल 26 मौतें हो चुकी हैं। पिछले 24 घंटों में ही चार मौतों की सूचना मिली है, जिससे संक्रमण की गंभीरता का अहसास हो रहा है।

ओमिक्रॉन के सब-वैरिएंट्स का बढ़ता खतरा

भारत में जिस वैरिएंट्स के कारण कोरोना के मामलों में वृद्धि हो रही है, उनमें ओमिक्रॉन और इसके सब-वैरिएंट्स प्रमुख हैं। विशेष रूप से NB.1.8.1 और LF.7 जैसे सब-वैरिएंट्स की संक्रामकता दर अधिक पाई गई है। हालांकि, ये वैरिएंट्स अब तक गंभीर रोग का कारण नहीं बने हैं, लेकिन ये शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को चकमा देने में सफल हो रहे हैं, जिसके कारण संक्रमित व्यक्ति को बचाव के बावजूद बीमारी हो सकती है।

मौतों का विश्लेषण: कोमोरबिडिटी का असर

स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा साझा की गई जानकारी के मुताबिक, पिछले 24 घंटों में जो चार मौतें हुई हैं, वे सभी कोमोरबिडिटी (एक से अधिक रोगों से ग्रस्त) से जूझ रहे थे। आइए जानते हैं इन मामलों की विशेषताएँ:

दिल्ली: 71 वर्षीय व्यक्ति को कोरोना के साथ निमोनिया, सेप्टिक शॉक और एक्यूट किडनी इंजरी की समस्या थी।

कर्नाटक: 63 वर्षीय पुरुष की मौत मल्टीपल ऑर्गन डिसफंक्शन सिंड्रोम और अन्य गंभीर समस्याओं के कारण हुई।

केरल: 59 वर्षीय पुरुष कोरोनरी आर्टरी डिजीज और अन्य शारीरिक समस्याओं से जूझते हुए संक्रमित हुआ था।

उत्तर प्रदेश: 23 वर्षीय युवक, जो पहले से कोमोरबिडिटी से ग्रस्त था, कोरोना संक्रमित होने के कारण अपनी जान गंवा बैठा।

एहतियात बरतने की जरूरत

स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, कोरोना से हो रही अधिकतर मौतों में वे लोग शामिल हैं, जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो चुकी है, या जो पहले से एक से अधिक क्रॉनिक बीमारियों (जैसे डायबिटीज, हृदय रोग, उच्च रक्तचाप) का शिकार थे। ऐसे लोग संक्रमण के प्रभाव से जल्दी उबर नहीं पाते और उनकी हालत गंभीर हो जाती है। विशेषज्ञों का कहना है कि इस समय एहतियातन सभी को कोविड उपयुक्त व्यवहार का पालन करना चाहिए, विशेष रूप से उन लोगों को जो 65 साल से ऊपर हैं या जिनकी प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर है। मास्क पहनना, हाथों को बार-बार धोना और सामाजिक दूरी बनाए रखना, इन सभी सावधानियों को ध्यान में रखना जरूरी है।

saamyikhans

former crime reporter DAINIK JAGRAN 2001 and Special Correspondent SWATANTRA BHARAT Gorakhpur. Chief Editor SAAMYIK HANS Hindi News Paper/news portal/

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