अयोध्या-मंडल

जंग खा रहा ‘जटायु क्रूज’, लाखों खर्च का बना मज़ाक

अयोध्या। राम मंदिर निर्माण के साथ अयोध्या को वैश्विक धार्मिक पर्यटन के मानचित्र पर स्थापित करने के लिए सरकार ने कई योजनाओं की झड़ी लगाई थी। इन्हीं में से एक महत्वाकांक्षी योजना थी ‘जटायु क्रूज सेवा’, जिसका भव्य उद्घाटन सितंबर 2023 में किया गया था। उद्देश्य था कि सरयू नदी पर श्रद्धालु नौका विहार करते हुए घाटों का सौंदर्य निहारेंगे और उन्हें आध्यात्मिक यात्रा का एक नया अनुभव मिलेगा। लेकिन हकीकत इससे कोसों दूर है। यह योजना अब उपेक्षा का शिकार हो चुकी है।उद्घाटन के समय ही यह सेवा तकनीकी दिक्कतों में उलझ गई थी। पर्यटन मंत्री जगवीर सिंह के हाथों उद्घाटन की औपचारिकता तो पूरी हुई, लेकिन क्रूज चालू नहीं हो पाया। बाद में कुछ दिन यह सेवा चली भी, तो उसे तकनीकी खराबी का हवाला देकर बंद कर दिया गया।तब प्रशासन का तर्क था कि सरयू में जलस्तर कम है। जब जलस्तर बढ़ा, तो अत्यधिक पानी को खतरा बताकर सेवा स्थगित कर दी गई। आज स्थिति यह है कि करोड़ों की लागत से बना यह क्रूज सरयू किनारे खड़ा-खड़ा जंग खा रहा है। स्थानीय लोग इसे फोटोजेनिक टूरिज्म मॉडल की नाकाम कोशिश करार दे रहे हैं।

जटायु क्रूज की दुर्दशा पर अब जनता सवाल उठा रही है, क्योंकि नवंबर 2025 में राममंदिर में फिर से भव्य आयोजन की तैयारियाँ हो रही हैं और इसी क्रम में सरकार द्वारा ‘टाइम मरीना’, ‘शाही नौका विहार’ और ‘आध्यात्मिक यात्रा अनुभव’ जैसी नई योजनाओं की घोषणाएं की जा रही हैं।

लेकिन शहरवासियों और श्रद्धालुओं के मन में अब एक ही सवाल है।

क्या ये भी ‘जटायु’ की तरह उद्घाटन तक ही सिमट जाएंगी?

स्थानीय पर्यटन व्यवसाय से जुड़े लोगों का कहना है कि यदि योजनाओं का यही हश्र होना है, तो लाखों-करोड़ों का निवेश केवल दिखावे की भेंट चढ़ता रहेगा।

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former crime reporter DAINIK JAGRAN 2001 and Special Correspondent SWATANTRA BHARAT Gorakhpur. Chief Editor SAAMYIK HANS Hindi News Paper/news portal/

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